Satire only
भावी विधायक मुन्ना भाई की पौलिटिकल ट्रेनिंग
(Garhwali satire, Satire in Uttarakhandi Language, Himalayan Wits)
भीष्म कुकरेती
चबोड़ इ चबोड़ मा
बी.जे.पी वलुं न गढवाळीs महान कलाकार घन्ना भाई तैं पौड़ी विधान सभा सीट का टिकेट दे त हमर अडगें (क्षेत्र) मा बि सलाण का अति महान गढवाळी कलाकार मुन्ना भाई तैं बि राष्ट्रीय पार्टी न टिकट दे द्याई. अब राष्ट्रीय पार्टी क टिकेट मिलण अलग बात च , मशहूर हूण एक बात च, चुनौ लड़ण, अर चुनौ बान तिकड़म से काम करण अलहदा छ्वीं छन
ड्याराडूण मा पार्टी हेड क्वाटर मा मुन्ना भाई अपण राजनैतिक गुरु जी अर पार्टी रणनीति कारौ समणि बैठयाञ छया .
गुरुजी (एक लिस्ट तैं समणि करदन ) - मुन्ना भाई ! जब बि जरोरात ह्वाऊ त धन्ना सेठ तै बोली दे धन्ना सेठ त्यार एरिया मा पैसा पौंछे द्याला .
मुन्ना भाई (इन उछिंडेन जन बुल्यां जुंडळऔ दाण भुजदें उछंड्यांद ) - धन्ना भाई ...?
रणनीति कार - मुन्ना भाई ! राजनीति मा भुजद दै जूंड़लूं तरां उछण्डण बन्द कौर. संत गौड़ी तरां योगी तरां आचरण कौर . हर समौ लटमुंड्याळ लुट्या तरां रौण कि अधार तैं बि पता नि चौल सौक बल यू लुट्या कै हौडु फरक्यालू .
मुन्ना भाई - पण रणनीति कार जी ! यू धन्ना सेठ त हमारो एरिया को बड़ो आळी जाळी , गलादर सौकार च. धन्ना सेठन पूरा एरिया क जंगळ काटी कूटिक जंगलोँ रगड़/जाजर कौरी आल. घन्ना सेठ से कत्ति दें मेरी लडै बि हुंईं च
गुरु जी - मुन्ना भाई ! हम रामलीला नि खिलणा छंवां कि जु बगैर आळी जाळयूँ मौ मदत से चुनौ जीत जौँवां. चुनौ मा बगैर आळी-जाळयूँ मदद से तुम एक बि सौ सभा नि कौरी सकदा .
रणनीति कार - सुण मुन्ना भाई ! धन्ना सौकार न अपण गेडियूँ पैसों से सर्वे करै अर पाई बल तू जितणे छे त त्यार सरा चुनौ खर्चा उठाणो तैयार ह्वाई .
गुरु जी - मतबल या च , हमन या सरा टेरिटरी धन्ना सेठ तैं बेचीं याल.
मुन्ना भाई - मतलब ...!
गुरु जी - हाँ ! धन्ना गलादार क दगड हमारि सकड पकड़ (चुपके से समझौता या कौनस्प्रेसी ) ह्व़े ग्याई बल तू जीति गे अर हमारी सरकार बौणि गे त पांच साल तलक तू, हमारि सरकार या क्वी ऑफिसर यीं अडगें/क्षेत्र क जंगळऊँ तर्फां सुपिन मा बि नि ह्यारल .
रणनीति कार - जब बि तू अपण एरिया मा मीटिंग सीटिंग करणै जैली त द्वी दिन अग्वाड़ी अर द्वी दिन पैथराँ लोकुं खुणि अर चुनौ से पाँच दिन पैलि सौब पोलिंग बूथुं क न्याड़ गौं मा शराबौ इंतजाम दरौड्या सेठ कॉरल. त्वे तैं कुछ नि करण . हमारा एजेंट अफिक दरौड्या सेठ क दगड रन्त रैबार ( कम्युनिकेसन ) करणा राला , टैम पर सौब जगा शराब पौंछणि राली .
मुन्ना भाई - पण ..
गुरूजी - पण क्या ! हम तैं पता च तीन दरौड्या सेठ क विरोध मा गीत गै गै क अपण नाम कमाई अर कबि बि दरौड्या सठ न चूं चां बि नि कार . जणदि छे ना उमेश डोभालौ क्या हाल ह्व़े छौ !
मुन्ना भाई - पण ..दरौड्या सेठ क कच्ची दारु पेकि कथगा लोक मोरिन ?
रणनीति कार - हाँ ! दरौड्या सेठ क दगड बि बड़ो कामयाब समझौता ह्व़े गे बल हमारी सरकार अगला पांच सालुं तलक ये एरिया मा दरोड्या सेठ क दारु पेकि लोक मोरन या गूणी बांदर मोंरन हमारी सरकार इनां झळकाँ बि नि द्याखलि.
रणनीति कार - अर हाँ जु त्यार च्याला चांठी ऊँ तैं ज़रा भाषण-भीषण अर भलो वातवरण बणाण तक इ सीमित रखी . चुनौ का असली ब्यूँतूं/तकनीकौ ऐजेंटों बान हमन पुळमास्टर तैं बडी मुस्किल से पटै याल.
मुन्ना भाई फिर से उछिंड
गुरूजी - राजनीति को पैलो पाठ कबि बि , कखिम बि , कनि पति मा उछिंडेण नि चयेंद
मुन्ना भाई - पण मीन इ त पुळ-मास्टर ठेकेदार क मनरेगा , ग्राम विकास , रोड कनस्टरकसनो घोटालों पर्दाफास कौर ..
रणनीति कार - हाँ तबी त त्यार नाम अडगैञ मा ह्व़े अर तबी त हमारी पार्टी न त्वे तैं टिकट दे. अब जोगध्यान लगैक सूण, ध्यान से समज ! पोलिटिकल इलेक्सन मसिनरी अर नाम कमाण मा भौत फरक होंद. पुळ-मास्टर चुनौ मसिनरी कु भौत बड़ो सल्ली /विशेषग्य च , जणगरु च. त्यार सरा चुनौ इंतजाम या इलेक्सन मनेजमेंट पुळ-ठेकेदार इ द्याख्ल अए हेरेक गौं मा एजेंट भर्ती कारल . हरेक गां मा कनो पोलिटिकल मन्युवेरिंग करण वो सौब काम -काज पुळ-ठेकेदार इ द्याखाल.
मुना भाई - मतबल अगला पांच सालों तलक हमारी सरकार इन बि नि द्याख्ली की पुळ-ठेकेदार क्या-क्या टुटब्याग करणों च
गुरु जी अर रणनीतिकार इक दगड़ी - अरे मुन्ना भाई त असली राजनीतिग्य ह्व़े गे ! हाँ भै, चुन्ना भाई ऐ जा अब ..!
चुन्ना भाई तैं देखिक मुन्ना भाई न ऐडैक डुन्करताळि मार - स्साले चुन्ना भाइ तुझे तो मैं देख लूंगा. तुझे तो ऐसी जगह मारूंगा जहां पानी बि ना मिले !
गुरु जी - मुन्ना भाइ ! अबि बि त्वेमा राजनीतीज्ञ बणण मा कमी च . जब बि कै दुस्मन की जुत्तों से पिटे कौरिक बेज्जती करण ह्वाऊ या भतियाभंद करण हो त जूतों तैं रेशम का खोळ पैराण जरुरी च
रणनीति कार - अर कैको बि खून करण ह्वाऊ त चक्कू , खुंकरि या गन कि गोळी तैं पैल फ्रिज मा ठनडो कारो अर फिर जु चावो स्यू कारो. राजनीती मा मार-काट हमेशा मुसक्या मार इ होंद. .
मुन्ना भाइ - मतबल ! म्यार सबसे बड़ो दुस्मन चुन्ना भाइ म्यार चुनौ मा काम कारल .
गुरूजी - हाँ ! अर वांको एवज मा चुन्ना भाइ तैं जिला परिसदो अध्यक्ष बणये जालो.
रणनीतिकार - इन पोलिटिक्स, देयर इज नो परमानेंट फ्रेंड एंड नो परमानेंट ऐनिमी ..
इति चुनाव: अभियानस्य प्रथम चरण संम्पनति .....
Garhwali Satire, Satire in Uttarakhandi Language, Himalayan Wits to be continued......
Copyright@ Bhishm Kukreti
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