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उत्तराखंडी ई-पत्रिका

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Tuesday, May 20, 2014

समाजवादी पार्टी की चिंतन बैठक

हंसोड्या , चुनगेर ,चबोड़्या -चखन्यौर्या -भीष्म कुकरेती     

(s =आधी अ  = अ , क , का , की ,  आदि )
ब्याळि २०/४/२०१४ कुण लखनऊ मा समाजवादी पार्टीन लोकसभा चुनाव मा हार का कारण खुज्याणो एक चिंतन मंथन बैठक कार। मीडिया अजकाल नरेंद्र मोदिफ़ाइड हुयुं च त मीडियान समाजवादी पार्टी चिंतन बैठक की खबर बरा नामो दिखाइ।  म्यार सुचण च कि बैठक मा इन चिंतन ह्वे ह्वालु। 
मुलायम सिंह - बेटा अखिलेश यु क्या ह्वाइ ? हम त मुजफरनगर काण्ड का बाद बि हार गेवां। 
अखिलेश - पर पापा ! उत्तर प्रदेश इन्फोर्मेसन ब्यूरोन  अपण इंटरनल सर्वे से सूचना  दे छे कि हम चालीस से जादा सीट पाणा छंवां। 
रामकृपाल यादव - अब्याक अबि उत्तर प्रदेश इन्फोर्मेसन ब्यूरो  चीफ तैं ट्रांसफर कारो अर कै बेकार सि विभाग मा ट्रांसफर कारो। 
अखिलेश - चाचा जी इन्फोर्मेसन ब्यूरो  चीफ आपक रिस्तेदार च। 
रामकृपाल यादव - तो फिर रण दे। चुनाव मा हारणो दुसर कारण ढूंढो। 
मुलायम सिंह - हमर हारणो हैंक कारण क्या च ?
एक एमएलए - जी जेल का  कैदियों तैं वोट नि दीण दे। 
हैंक एमएलए - जी भौत सा गुंडा जेल से भैर नि ऐन तो हमर कार्यकर्ता वोटरूं तैं ठीक से नि डरै सकिन। 
हैंक एमएलए - भौत सा गुंडा नरेंद्र मोदीक भकलौण मा ऐ गेन अर बुलण मिसे गेन कि जब अच्छे दिन आने वाले हैं तो गुंडागिरी करके क्या फायदा ? 
मुलायम सिंह यादव - गृह मंत्री को च ?
गृह मंत्री - नेता जी ! मि । 
मुलायम सिंह - तुम से गुंडे जैसे लोग भी नही सम्भलते तो सरीफ आदमी क्या संभलेंगे। 
गृह मंत्री - जी अब अग्वाड़ी  सरीफों को गुंडा बनाने की ट्रेनिंग दिए जाल। 
एक एमएलए - जी पुलिस हम कार्यकर्ताओं की बात नि सुणदि। 
एमएलए - मसलन हम कार्यकर्ताओं का कुत्ता या खरगोस हर्ची गे तो  पुलिस मुस्तैदी से कुत्ता अर खरगोस नि खुज्यांदी। 
मुलायम सिंह - आजम खान जी ! यु हूणु च ? 
आजम खान -जी पुलिसकर्मियों कमी च। 
मुलायम - किलै ?
आजम खान - जी सरा पुलिस फ़ोर्स तो हम निष्ठावान कार्यकर्ताओं भैंस खुज्याण मा लगीं रौंद। 
 मुलायम सिंह - लोगुं तैं क्या दिखाण ? अखिलेश बेटा ! कुछ स्वाच बि च ?
अखिलेश -हाँ सोच याल। 
मुलायम -क्या ?
अखिलेश -हम तीस पैंतीस राज्य मंत्री बर्खास्त करणा छंवां। 
मुलायम सिंह - पर फिर सरकारी काम कनकै चौलल ?
अखिलेश -पापा ! यी मंत्री तो सुदी बणायां छन।  यूं राज्य मंत्र्युं मा कुछ बि काम नि बंट्यु च। 
मुलायम -ठीक च यूँ बेकार का मंत्र्युं तैं बर्खास्त करो।  अर प्रेस नोट द्यावो कि हमन एक्सन लि  आल। 
एक - पर यांसे यी राज्य मंत्री नराज ह्वे जाल तो ?
अखिलेश -अरे भोन्दु यी त जनता मा मेसेज दीणा कुण च।  पंदरा बीस दिन बाद सब तैं बहाल करे जाल। 
मुलायम - ठीक च।  तो अब चिंतन ह्वे गे।  बैठक खतम ! 
सब -नेता जीकी जय ! 



Copyright@  Bhishma Kukreti  21/5/2014   
    

*कथा , स्थान व नाम काल्पनिक हैं।  
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