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Tuesday, July 17, 2012

याद जब तू करणी रैलि -गढ़वाली कविताएँ व गीत

कवि-डॉ नरेन्द्र गौनियाल
 
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जिकुड़ी य धक-धक, धड़कणी रैलि,
तेरो नौं य जब तक,इनि लीणी रैलि.
त्वे बिसरणु च अब, भौत मुश्किल,
जिंदगी य बस इनि,कटिणी रैलि.
उनु त कतगे होला,फिरबी तू होलि यखुली,
मि सदनि दगड़ मा,जब तू याद करणी रैलि.
तेरि याद का सहारा,इनि कटि जाला यु दिन,
मन की पीड़ मन मा,जिंदगी ख़ुशी से कटेली.

सुख कि जूनी इनि चमकणी रैलि,
दुःख कि बदळी इनि हटणी रैलि.
जिंदगी कु बाग़ इनि महकणू रालो,
प्रेम कि खुशबू इनि आणी रैलि.

मन का फूल इनि खिलणा राला,
धीत कि प्वतळी इनि उड़णी रैलि.
दुःख का दिन मि इनि बिसरि जौंलु.
याद जब तू इनि  करणी रैलि.

    डॉ नरेन्द्र गौनियाल..सर्वाधिकार सुरक्षित   
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